बात सिर्फ देसी दारू की नहीं है, बात उस व्यवस्था की है जो गांवों में बहते नशे की नदियों को रोकने की हिम्मत जुटा रही है। ये रिपोर्ट उस अंधेरे कोने की है जहाँ बोतलें चुपचाप भरती हैं… और पुलिस अब वहाँ भी पहुँच रही है।
📍 जगह: ग्राम नाईक जाम, तहसील बार्शीटाकली, जिला अकोला
📆 तारीख: 15 जुलाई 2025
पुलिस अधीक्षक अर्चित चांडक के नेतृत्व में ऑपरेशन प्रहार के तहत एक और कार्रवाई हुई। गुप्त सूचना पर स्थानीय गुन्हे शाखा की टीम ने बार्शीटाकली क्षेत्र में दो अलग-अलग अवैध दारू निर्माण के ठिकानों पर छापा मारा।
👤 पहला आरोपी: सुनील वामन चव्हाण (38 वर्ष)
📦 जब्त दारू: 490 लीटर – कीमत ₹77,750
👤 दूसरा आरोपी: गोपाल किशन चव्हाण (38 वर्ष)
📦 जब्त दारू: 120 लीटर – कीमत ₹18,250
🔸 कुल मिलाकर पुलिस ने 610 लीटर देसी शराब व सडवा मोह का माल जब्त किया, जिसकी अनुमानित कीमत ₹96,000 बताई जा रही है।
🔸 आरोपियों पर कलम 65 ई महाराष्ट्र दारूबंदी कायदा अंतर्गत पोस्टे बार्शीटाकळी में केस दर्ज किया गया।
इस कार्रवाई में शामिल रहे —
अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक बी. चंद्रकांत रेष्ट्री, पोनि शंकर शेलके, GPSI दशरथ बोरकर, पोहवा गोकुळ चव्हाण, स्वप्नील खेडकर, अन्सार अहमद और चालक मनीष ठाकरे।
ये ऑपरेशन एक कार्रवाई नहीं, एक चेतावनी है।
पुलिस अब वहाँ पहुँच रही है जहाँ कानून की किताबें नहीं, बोतलें खुलती थीं।
और सवाल यह है — क्या ये प्रहार आखिरी है… या शुरुआत?